नगर निगम के राजस्व और आबकारी के राजस्व का हुआ बंटाधार
मामला मोहारा अंग्रेजी शराब दुकान के स्थानांतरण का
स्थल चयन को लेकर हो रहे आक्रोश एक भाजपा नेता सहित व्यापारी का खुला खेल
राजनांदगांव रमेश निवल बालु खबर योद्धा।। मप्र के समय निजी ठेकेदारों के भरोसे चलने वाली शराब भट्टी और दुकान छत्तीसगढ़ राज्य मे भाजपा सरकार के समय सरकारीकरण होने पर आबकारी विभाग हीं सारा संचालन कर शासन को करोड़ों की राजस्व हर वर्ष दे रहे है। इस शराब के गोरख धंधे में आबकारी अधिकारियों की जमकर कमाई और सत्ता मे लिप्त नेताओं का भी खेल हुआ।

जिसके चलते ईडी ने अनवर देबर, अनिल टुटेजा सहित लोगो को गिरपतार किया है और मुख्यमंत्री भूपेश बघेल का पुत्र चैतन्य बघेल अभी जेल मे है। भूपेश बघेल के मुख्य मंत्रिव कार्यकाल के 26 अधिकारी को राज्य शासन ने निलबित किया है। राजनांदगांव के चर्चित अधिकारी नवीन तोमर, नीतू नोतानी अनिमेष नेताम, विजय सेन शर्मा, जीपीएस दर्दी आदि अधिकारी सहित कुल 26आबकारी अधिकारी को राज्य शासन में हाल ही में निलंबित किया हैं और करोड़ों रुपए के गबन के लिए उनको दोषी माना गया है। यह भी चौक चौराहे पर चर्चा है कि इस अवैध शराब के धंधे मे राजनांदगांव में भाजपा के कुछ चर्चित नेता शराब कोचिंए को संरक्षण देकर अवैध शराब बिकवा रहे हैं तो ऐसे कोचिंयो का अधिकारी के समछ कॉल कर जमकर बीच बचाव भी कर रहे हैं और जमकर नोटॉमीसिन टेबलेट खा रहे है।

इसमें यह चर्चा कई दिन तक सरगर्म रही कि गत दिनों सांसद कार्यालय से जुड़े एक भाजपा नेता का नाम विगत तीन चार अधिकारियों के कार्यकाल में खुलकर सामने आया कि वह उन कोचिंयो का बचाव सासद के नाम पर करते रहे हैं यह सब जानकर भी सांसद ने उसे कभी टोका या रोका नहीं है जिससे उनकी दुकानदारी जमकर चल रही है परन्तु सांसद ऐसा क्यों कर रहे है। यह चर्चा चाय पर लोगो के बीच हो रही है। अभी हाल ही में एक ताजा मामला सामने आया हैं जिसमें एक व्यापारी को लाभान्वित करने के लिए भाजपा नेता ने मोहारा स्थित शराब भट्टी अंग्रेजी शराब दुकान को वहां से हटाने के लिए गुणा भाग किया और अजीबोगरीब तथ्य दिया कि इस शराब दुकान से आसपास के लोगों को परेशानी हो रही है परंतु ऐसा कही कुछ नहीं हो रहा था जिससे सीधा आसपास वातावरण पर फर्क पड़े परंतु अधिकारियों को नोटामाइसिंन का गणित समझाकर खेल करवा दिया।

इसमें नये अधिकारी की गलती से राज्य शासन को जमकर राजस्व हानि हुई है। यह हम नहीं कह रहे हैं बल्कि अंग्रेजी शराब दुकान से होने वाली आय बता रही है। पहले मोहारा मे अंग्रेजी शराब दुकान से हर दिन लगभग पांच व छह लाख मिल रहा था। कभी विशेष त्यौहार में आठ लाख तक हो जाता था और अभी जहाँ दुकान खुली है। वहां गिनती के शराब प्रेमी दिख रहे है। यहा के सुपरवाइजर नन्द कुमार ने बताया कि अब शराब दुकान से आय कुछ हज़ार हीं रह गई है। हर कोई जानकार अंग्रेजी शराब दुकान के स्थानांतरन से होने वाला नुकसान की चर्चा कर रहा हैं। मोहारा शराब भट्टी के पास 30 नगर निगम की दुकान है जिसे हर महीने हजारो रूपए तथा उनमें लगाए गए बिजली बिल से छत्तीसगढ़ राज्य विद्युत कंपनी राजनांदगांव को लगभग एक से डेढ़ लाख रुपए का बिजली राजस्व प्राप्त होता रहा है। नयी दुकान को लेकर शराब प्रेमियों का खुलकर कहना है कि व्यवस्था और साफ सफाई के मामले में मोहारा शराब भट्टी और दुकान की जगह एकदम सही थी फिर अचानक क्या गणित हुआ कि उसे 1 किलोमीटर दूर लखोली के खार में स्थापित करने का गणित हुआ। मूलतः एक व्यापारी तथा भाजपा नेता को लाभ पहुंचाने की नीयत से आबकारी विभाग द्वारा यह कार्य किया गया है जो शहर वासियों के बीच चर्चा का विषय बन गया हैंl महापौर मधुसूदन यादव और नगर निगम अध्यक्ष पारस वर्मा भी इस मामले मे चिंतित नजर आ रहे हैं। पता नहीं किस कारण से वह इस मामले में खुलकर कुछ नहीं बोल पा रहे हैं। जब मेयर मधुसूदन यादव से संपर्क किया गया तो उनके मोबाइल पर रिंग जाते रही और उन्होंने रिसीव करना उचित नहीं समझा। इसी तरह का हाल नगर निगम अध्यक्ष पारस वर्मा का हैl शराब प्रेमियों का कहना था कि शहर के लगभग 70 से 80% विदेशी शराब के प्रेमी मोहारा पर आकर सर्व सुलभ व्यवस्था के तहत शराब लेते रहे हैं जिसके चलते नगर निगम सहित विद्युत राजस्व की प्राप्ति हो रही थी पर आननफानन में बिना कोई योजना के इस तरह का अंग्रेजी शराब का स्थानांतरण आबकारी विभाग के लिए आत्मघाती कदम साबित हो रहा है क्योंकि वर्तमान में लखोली स्थित खार खेत मे खोले गए शराब दुकान के चलते गन्दा रास्ता और भारी गंदगी कीचड़ पानी के बीच लोगों का आना-जाना असहज हो रहा है जिसके चलते बहुत कम उंगली में गिरने लायक लोग शराब पीने शराब खरीदने पहुंच रहे हैं और इनकम बहुत कम हो गई है। बहुत से लोगों की नाराजगी यह देखने को मिल रही है कि गलत जगह का चयन कलेक्टर और आबकारी अधिकारी ने किस राजनेता के प्रभाव में आकर किया हैl जिसके चलते शराब प्रेमियो को मजबूरन रेवाड़ीह या आसपास की दुकानों में यह रुख करना पड़ रहा है। आने वाले दिनों में यह स्थिति ना हो जाए कि नई अंग्रेजी दुकान को नई जगह पर बंद न करना पड़ जाए। इस निर्णय को लेकर चौक चौराहे पर चर्चा है और पीने वाले शौकीन इस बात को लेकर आबकारी अधिकारी और नगर निगम के चेयरमैन और सांसद के खास को जमकर कोस रहे हैं कि नगर निगम और गरीबो के हित की बजाय अपने स्वहित के चलते एक व्यापारी एवं अधिकारी के हित को सर्वोपरि मानकर नगर निगम से जुडा सत्ताधारी चेयरमैन पता नहीं पार्टी को भारी नुकसान कर शासन एवं नगर निगम का जमकर नुकसान करवा रहा हैl नगर निगम की 30 दुकानों में कुछ एक दुकान को छोड़कर अधिकांश में चखना और अन्य चीजो की बिक्री होती थी और उनके चलते गरीब दुकानदार प्रसन्न थे कि उनकी रोजी रोटी निकल जाती हैं और खुशी खुशी से नगर निगम को हर महीने किराया और विद्युत कंपनी को हर महीने बिजली बिल पटाया करते थे परंतु आज उनके समक्ष दाल रोटी की गंभीर स्थिति उत्पन्न हो गई है lशराब दूकान के हटने से सब अपने आप को हर माह का किराया अदा करने में असक्षम महसूस कर रहे हैं वही लखोली स्थित खार में शराब दुकान खोलने के बाद आसपास के किसानों सहित ग्रामीणों ने भी मोर्चा खोल दिया है और बहुत जल्द बड़ी संख्या में कलेक्ट्रेट मे उनके बड़ा प्रदर्शन की तैयारी चल रही है। कांग्रेस आप को यह एक बड़ा मुद्दा मिल सकता है और देर सबेरे कांग्रेस और आप पार्टी इस मुद्दे को आंदोलन का रूप दे सकती है कि यह निर्णय करप्शन के खेल के चलते गलत लिया गया हैl ऐसे में जिला प्रशासन सहित भाजपा पार्टी की भी किरकिरी होगी। इन सबको बीच जिला भाजपा अध्यक्ष की खामोश भूमिका को लेकर भी सवालिया निशान खड़े हुए हैं कि ऐसे गलत निर्णय को जानकर एक भाजपा नेता को क्यों उन्होंने छुट्ट दी हैं। चर्चा है कि जिला बीजेपी अध्यक्ष के आसपास आजकल बिजली, इलेक्ट्रिक और रेती,मुरूम,मिट्टी,गीट्टी और अन्य काला धंधा करने वाले लोगो की भीड़ बढ़ गई हैं। बीजेपी के किसी नेता के गलत निर्णय से आम जनता के बीच अच्छा सन्देश नहीं गया है। जागरुक लोगो का कहना है कि यह एक गलत निर्णय है और इस पर दोषियों पर कार्रवाही होनी चाइये। जिला कांग्रेस के अध्यक्ष भागवत साहू का कहना है कि मुझे भी जानकारी मिली है। किसी के दबावऔर गुणभाग मे ऐसे निर्यण सरकारी राजस्व को नुकसान पहुचाते है। नगर निगम के पूर्व अध्यक्ष एवं सीनियर भाजपा नेता शिव वर्मा ने ऐसे निर्णय पर आपत्ति जताई है और कहा कि राजसव का नुकसान बर्दाश्त नहीं किया जाएगा l
